यूपी: सरकारी भवनों में प्रातःकाल 8:30 बजे तो सरकारी स्कूलों में बदला ध्वजारोहण का समय
उत्तर प्रदेश में मुख्य सचिव दुर्गा शंकर मिश्र ने प्रदेश के समस्त जनपदों के जिलाधिकारियों को 26 जनवरी, 2023 को मनाए जाने वाले गणतंत्र दिवस समारोह को गरिमापूर्ण ढंग से मनाया जाने का आदेश दिया है।मुख्य सचिव दुर्गाशंकर मिश्र द्वारा दिए गए आदेश में कहा गया है कि उपरोक्त विषय पर मुझे यह कहने का निर्देश हुआ है कि हमारे देश के गौरवशाली इतिहास, स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों के त्याग और बलिदान तथा पूर्ण गणतंत्र बनने की याद दिलाने वाला 74वां गणतंत्र दिवस समारोह परम्परागत रूप से सादगी, परन्तु आकर्षक ढंग से मनाया जाये।
समारोह की व्यवस्था हेतु एक परामर्शदाता समिति गठित कर ली जाय, जिसमें स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों, शहीदों के परिजनों, विभिन्न सामाजिक संगठनों एवं राजनीतिक दलों, सरकारी विभागों, शैक्षिक संस्थाओं, जिला सैनिक कल्याण कार्यालय आदि के प्रतिनिधियों को शामिल किया जाये।
इसके अलाव दिए गए आदेश में कहा गया है कि गणतंत्र दिवस समारोह, 2023 के सम्बन्ध में आपकी सुविधा के लिए कार्यक्रम की रूपरेखा नीचे दी जा रही है, किन्तु यदि आवश्यक समझे तो व्यावहारिक स्तर पर सुविधानुसार यथोचित परिवर्तन किया जा सकता है।
(1) प्रातःकाल 8:30 बजे सरकारी भवनों पर झण्डारोहण तथा अभिवादन हो और इस अवसर पर राष्ट्रगान के साथ संविधान में उल्लिखित संकल्पों के स्मरण की व्यवस्था की जाये।
(2) शिक्षण संस्थाओं में राष्ट्रध्वज प्रातः 10:00 बजे फहराया जाये।
(3) इस अवसर पर राष्ट्रीय एकता, अखण्डता, धर्म-निरपेक्षता और साम्प्रदायिक सौहार्द की भावना को मजबूत बनाने पर बल दिया जाये।
(4) समस्त शिक्षण संस्थाओं में इस अवसर पर ऐसे कार्यक्रमों का आयोजन किया जाये, जिनमें राष्ट्रगान ‘जन-गण-मन’ का सामूहिक गायन भी सम्मिलित हो। विद्यार्थियों को संक्षेप में स्वतंत्रता संग्राम का इतिहास बताया जाये और सशस्त्र सैन्यबलों के बलिदान को नमन करते हुए देशभक्तों के जीवन के प्रेरक-प्रसंगों की चर्चा की जाये, जिससे राष्ट्रीय चेतना विकसित हो।
नाटक, विचार गोष्ठी तथा निबन्ध- लेखन की प्रतियोगितायें भी यथासम्भव आयोजित करायी जाये इस सम्बन्ध में शिक्षा निदेशक यथोचित आदेश अलग से जारी करेंगे।
4. झण्डारोहण कार्यक्रम के तुरन्त बाद पुलिस परेड की जाये। परेड की सलामी वहां उपस्थित केन्द्रीय/प्रदेश सरकार के मा0 मंत्रीगण द्वारा ली जाये। यदि वे उपस्थित न हों, तो परेड की सलामी मण्डलायुक्त / जिलाधिकारी को शामिल किया जाए।
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