Breaking

Primary Ka Master Latest Updates | Education News | Employment News latter 👇

शुक्रवार, 4 अगस्त 2023

कैसे सुधरे शिक्षा: इधर स्कूल हो रहे क्रमोन्नत, उधर पढ़ाने वालों की कमी



 कैसे सुधरे शिक्षा: इधर स्कूल हो रहे क्रमोन्नत, उधर पढ़ाने वालों की कमी

बाड़मेर. एक तरफ जहां सरकार धड़ल्ले से आदेश पर आदेश निकाल स्कूलों को क्रमोन्नत कर उच्च माध्यमिक बना रही है तो दूसरी तरफ पद रिक्तता की समस्या भी बढ़ती जा रही है। डीपीसी नहीं होने से करीब 57 हजार पदों की पदोन्नति अटकी हुई है तो एक लाख दस हजार से ज्यादा पद रिक्त चल रहे हैं। ऐसे में माध्यमिक शिक्षा का हाल बेहाल नजर आ रहा है।


प्रदेश की हर ग्राम पंचायत मुख्यालय पर राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय खोलने की घोषणा को अमलीजामा पहनाते हुए सरकार थोक के भाव उच्च माध्यमिक विद्यालय बना रही है। आठवीं से बारहवीं, माध्यमिक से उच्च माध्यमिक विद्यालय क्रमोन्नति की पिछले दो सत्र में बाढ़ ही आ गई है, लेकिन दूसरी ओर पद रिक्तता भी बढ़ती नजर आ रही है। स्थिति यह है कि साल दर साल शिक्षक सेवानिवृत्त हो रहे हैं जिस पर पदरिक्तता बढ़ती जा रही है। माध्यमिक शिक्षा की बात करें तो प्रदेश में वर्तमान में प्रधानाचार्य से लेकर सहायक कर्मचारी तक 294291 पद स्वीकृत है जिसमें से 111073 पद खाली है।


स्कूल तो खुल गए पर व्याख्याता ना वरिष्ठ अध्यापक:  प्रदेश सहित जिले में कई विद्यालय ऐसे हैं जो कहने को तो उच्च माध्यमिक है लेकिन यहां पर उच्च माध्यमिक को छोड़ नवीं व दसवीं पढ़ाने वाले वरिष्ठ अध्यापक तक नहीं है। ऐसे में तृतीय श्रेणी शिक्षकों के भरोसे पढ़ाई हो रही है। व्याख्याताओं की स्थिति का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि 54 हजार पदों में से 16 हजार पद खाली है। वरिष्ठ अध्यापकों के 23 हजार पद रिक्त चल रहे हैं।


पद ही नहीं स्वीकृत तो कैसे लगे शिक्षक: प्रदेश में पिछले एक साल से जितने विद्यालय क्रमोन्नत हुए हैं, उसमें से अधिकांश में पद ही स्वीकृत नहीं किए गए हैं। ऐसे में शिक्षक लगाएं भी तो कैसे। इसका मतलब है कि इन विद्यालयों में कोई व्याख्याता, वरिष्ठ अध्यापक लगना भी चाहे तो पद नहीं होने पर नहीं लग सकता। ना ही गेस्ट फैकल्टी से किसी को लगाया जा सकता है।


पद रिक्तता की समस्या हो हल : प्रदेश में माध्यमिक शिक्षा के तहत पद रिक्तता काफी है जिसका समाधान होना जरूरी है। इसके बिना सरकारी विद्यालयों में शिक्षा का ढांचा नहीं सुधर सकेगा- बसंतकुमार जाणी, जिलाध्यक्ष राजस्थान वरिष्ठ शिक्षक संघ रेस्टा


सरकार शिक्षक लगाए : सरकार सबसे पहले शिक्षकों की नियुक्ति करे। डीपीसी हो या फिर विज्ञप्ति जारी कर शिक्षक भर्ती आरम्भ की जाए। शिक्षकों के बिना स्कूल क्रमोन्नति को कोई मतलब नहीं है।- छगनसिंह लूणू, प्रदेशाध्यक्ष प्रा शि राजस्थान शिक्षक संघ सियाराम


एक माह में सब हो जाएगा: हाल ही स्वीकृत स्कूलों में पद भी साथ में स्वीकृत किए हैं। रीट भर्ती प्रक्रिया पूर्ण कर जल्द नियुक्ति दी जाएगी। एक माह में शिक्षकों के पदों को लेकर सब कुछ हो जाएगा।-मेवाराम जैन, विधायक बाड़मेर





कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें