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शनिवार, 26 अगस्त 2023

केन्द्र सरकार ने पांच हजार छात्रों के अप्रूव्ड फॉर्म विभाग को लौटाए, छात्रवृत्ति घोटाला रोकने लिए सतर्क हुआ विभाग

 


केन्द्र सरकार ने पांच हजार छात्रों के अप्रूव्ड फॉर्म विभाग को लौटाए, छात्रवृत्ति घोटाला रोकने लिए सतर्क हुआ विभाग

अब अल्पसंख्यक विभाग ने शिविर लगाकर पात्र छात्र-छात्राओं एवं प्रत्येक शिक्षण संस्था के संस्था प्रधानों का अंगूठा लगाकर सत्यापकर का कार्य शुरू कर दिया है, ताकि छात्रवृत्ति वितरण में पारदर्शिता हो सके।


इसलिए उठाया कदम

सत्र 2008 से 2018 के बीच हुए छात्रवृत्ति घोटालों को लेकर अब सरकार और विभाग ने फूंक-फूंक कर कदम रखना शुरू कर दिया है। पिछले सालों से यही था कि संस्था में प्रवेशित छात्रों की ओर से ऑनलाइन छात्रवृत्ति का फॉर्म संबंधित पोर्टल पर भर दिया जाता था और यहां के संस्था प्रधान उसे अप्रूव्ड कर विभाग को भेज देते थे। विभाग उसे सरकार को फॉरवर्ड करता था और सरकार से संबंधित छात्र के खाते में छात्रवृत्ति डाल दी जाती थी, लेकिन पिछले सालों हुए छात्रवृत्ति के घोटालों के मामले को गंभीरता से लेते हुए एवं इस पर अंकुश लगाने के लिए सरकार और विभाग सतर्क हो गए हैं।


केवाईसी की शुरू की थी प्रक्रिया


अल्पसंख्यक विभाग ने तो सत्र 2020 में केवाईसी की प्रक्रिया भी शुरू की थी, लेकिन अब और सतर्कता बरतते हुए संबंधित संस्था के संस्था प्रधान और यहां के पात्र छात्रों के थंब वेरीफिकेशन का काम शुरू कर दिया है। थंब वेरीफिकेशन करवाने का काम कॉमन सर्विस सेंटर को टेंडर पर दिया है। इससे शिविर लगाकर संस्था प्रधानों और छात्र-छात्राओं का थंब वेरीफिकेशन किया जा रहा है। सत्र 2022-23 में जिले की 309 संस्थाओं के 5 हजार 131 छात्रों ने अल्पसंख्यक विभाग के पोर्टल पर फॉर्म भरे थे, जिन्हें संबंधित संस्था प्रधानों ने अप्रुव्ड कर विभाग को भेज दिए। यहां से केन्द्र को फॉरवर्ड कर दिए गए, लेकिन छात्रवृत्ति मिलने का इंतजार कर रहे इन छात्रों को झटका तब लगा जब केन्द्र सरकार ने ये सभी फॉर्म अल्पसंख्यक विभाग को वापस भेज दिए।


इसलिए कर रहे थम्ब वेरिफिकेशन


अब विभाग से शिक्षण संस्थाओं के संस्था प्रधानों और छात्रवृत्ति के लिए पात्र छात्र-छा़त्राओं का थंब वेरीफिकेशन किया जा रहा है। इसके बाद ही इन सभी फॉर्मों को विभाग से आगे भेजा जाएगा। इसके लिए 309 में से 296 संस्था प्रधानों के और 5131 में से करीबन 1500 छात्रों के थंब वेरीफिकेशन शिविर लगाकर किए जा चुके हैं। दूसरी ओर समाज कल्याण विभाग ने भी छात्रवृत्ति पोर्टल पर बायोमेट्रिक उपस्थिति शुरू करवा दी है। ये काम नोडल अधिकारी जिला अल्पसंख्यक कल्याण अधिकारी और डीईओ के निर्देशन में किया जा रहा है।


सवाईमाधोपुर/सूरवाल. शिक्षण संस्थाओं में छात्रवृत्ति घोटाले को लेकर अब सरकार और विभाग पूरी तरह सतर्क हो गए हैं। सत्र 2022-23 में शिक्षण संस्थाओं ने पांच हजार से अधिक छात्रवृत्ति के फार्म अप्रूव्ड किए थे, जिन्हें अल्पसंख्यक विभाग ने केन्द्र सरकार को फॉरवर्ड कर दिए, लेकिन घोटाले की आशंका को देखते हुए केन्द्र सरकार ने यह सभी अप्रूव्ड फॉर्म अल्पसंख्यक विभाग को वापस कर दिए।


इनका कहना है


देश में कई संस्थाएं ऐसी चल रही थी जो फर्जी पाई गई और छात्रवृत्ति घोटाले का प्रकरण सामने आया। इसे गंभीरता से लेते हुए पूर्व में संस्थाओं और विभाग से अप्रूव्ड किए गए छात्रवृत्ति के फॉर्म केन्द्र सरकार ने लौटा दिए। अब थंब वेरीफिकेशन से पूरी पारदर्शिता के साथ पात्र छात्रों के फॉर्म अप्रूव्ड किए जाएंगे, ताकि छात्रवृत्ति घोटाले पर पूरी तरह अंकुश लग सके।-मनोज कुमार, जिला अल्प संख्यक कल्याण अधिकारी।

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