मिशन स्टार्ट के प्रभावी क्रियान्वयन से मिलेंगे सकारात्मक परिणाम
बांसवाडा . मिशन स्टार्ट के तहत राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालयों में संचालित आईसीटी लैब, इंटरनेट, स्मार्ट टीवी, प्रोजेक्टर आदि संसाधनों से विभागीय ई-कंटेंट का बेहतर उपयोग किया जा सकेगा। विषय अध्यापकों की संख्या और ई-कंटेंट का समन्वय कर मिशन स्टार्ट में ई-लेक्चर से 700 से 800 घंटे की कक्षाओं का संचालन किया जा सकता है। यह बात समग्र शिक्षा के एडीपीसी सुशील कुमार जैन ने हाऊसिंग बोर्ड में चल रहे पीईईओ एवं संस्था प्रधान के प्रशिक्षण में व्यक्त किए।उन्होंने ई-कक्षाओं में प्रतिदिन की गतिविधि व विषयवार शिक्षण की समय सारणी बनाने को कहा। इसके लिए स्कूल लेसन गाइडेंस मॉड्यूल तैयार किया है।
पीईईओ को निर्देश दिए कि एसएनए की राशि का भुगतान अधीनस्थ विद्यालयों के संस्था प्रधानों से बिल लेकर सम्बंधित फर्म अथवा वेंडर को ही करें। संस्था प्रधानों से कहा कि किसी भी पीईईओ की ओर से एसएनए राशि का भुगतान करने में लापरवाही की सूचना दें। सहायक निदेशक भरत पंड्या ने स्कूल ऑफ्टर प्रोग्राम का प्रभावी क्रियान्वयन करने पर जोर दिया। सीबीईओ गायत्री स्वर्णकार ने भी विचार व्यक्त किए। इस अवसर पर केआरपी संजय भावसार, तख्तसिंह राव, विनोद उपाध्याय, किशोर उपाध्याय, प्रशिक्षण प्रभारी रामचंद्र राठौड़ सहित पीईईओ एवं संस्था प्रधान उपस्थित रहे।
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