पहली बैठक में बोले- कला शिक्षक जरूरी... फिर कमेटी ने बदली राय, किया गुमराह
जयपुर. स्कूलों में तृतीय और द्वितीय श्रेणी के कला शिक्षकों की भर्ती को लेकर गठित कमेटी की रिपोर्ट पर सवाल खड़े हो रहे हैं।सरकार के निर्देश पर राजस्थान राज्य शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद की ओर से गठित कमेटी ने पहली बैठक में स्वीकार किया कि स्कूलों में कला शिक्षकों की आवश्यकता है। लेकिन अंतिम बैठक में कमेटी ने कला शिक्षकों की भर्ती को सिरे से खारिज कर दिया।
दरअसल, हाईकोर्ट ने एक मामले में फैसला सुनाते हुए शिक्षा विभाग को कला शिक्षकों की भर्ती करने के निर्देश दिए थे। इसके बाद सरकार ने कमेटी का गठन किया था। राज्य में पिछले तीन दशक से कला शिक्षकों की भर्ती नहीं हुई। कला शिक्षा के अभ्यर्थियों की ओर से भर्ती की मांग की जा रही है।
हाईकोर्ट ने भी शिक्षा विभाग को कला शिक्षकों की भर्ती करने के निर्देश दिए हैं। कोर्ट के आदेश के बाद सरकार के निर्देश पर राजस्थान राज्य शैक्षिक अनुसंधान की ओर से कमेटी बनाई गई थी,जिसे कार्ययोजना तैयार करनी थी। लेकिन कमेटी ने तथ्यों को जाने बिना ही कला शिक्षकों की भर्ती को खारिज कर दिया।-महेश गुर्जर, सचिव राजस्थान बेरोजगार चित्रकला संगठन
राज्य शैक्षिक अनुसंधान की कमेटी ने जो रिपोर्ट दी है वह गलत है। सामान्य शिक्षा के शिक्षक कला शिक्षण नहीं करा सकते। उच्च शिक्षा विभाग की कमेटी ने अनुशंसा की थी कि स्कूलों में कला शिक्षकों की आवश्यकता है।-प्रो. अंजलिका शर्मा, संगीत विभाग, राजस्थान विश्वविद्यालय
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