पुनर्भरण राशि: निजी स्कूलों का करवाया जा रहा भौतिक सत्यापन
श्रीगंगानगर. शिक्षा विभाग सरकारी के साथ निजी स्कूलों में भी वर्ष 2023-24 में आरटीई,इंदिरा महिला शक्ति निधि तथा मुख्यमंत्री पुनर्भरण योजना में पढ़ाई कर रही बालक-बालिकाओं पर करोड़ों रुपए खर्च कर रही है। इसको लेकर विभाग पड़ताल करवा रहा है। निजी स्कूलों में सरकारी योजनाओं का कितना क्रियान्वयन हो रहा है। विद्यार्थियों को कितना लाभ मिल रहा है या नहीं? फीस पुनर्भरण के लिए बताई गई विद्यार्थियों की संख्या कितनी सही और कितनी गलत है। इन सभी की जांच के लिए निजी स्कूलों का भौतिक सत्यापन करवाया जा रहा है। इसके लिए जिला शिक्षा अधिकारी माध्यमिक व प्रांरभिक ने अपने-अपने क्षेत्र के स्कूलों की संख्या के आधार पर दलों का गठन कर दिया है।
अब इन दिनों जल्द ही प्रशिक्षण देकर भौतिक सत्यापन के लिए गाइड लाइन जारी कर पाबंद कर दिया जाएगा। गठित दल उन्हीं विद्यालयों का भौतिक सत्यापन करेंगे,जिन निजी स्कूलों में आरटीई के तहत नि:शुल्क शिक्षा,इंदिरा महिला शक्ति फीस पुनर्भरण योजना तथा मुख्यमंत्री बालक पुनर्भरण योजना के तहत बालक-बालिकाएं पढ़ाई कर रही है।
भौतिक सत्यापन के लिए दल गठित
विशेष सत्यापन दल जिले में विद्यालयों की संख्या का एक प्रतिशत अथवा 20 विद्यालय जो भी अधिक हो का अनिवार्य रूप से सत्यापन करना होगा। इसके अलावा दल उन विद्यालयों का पुन: सत्यापन करेंगे जो सत्यापन दलों की ओर से सत्यापित किए जा चुके हैं। निरीक्षण से पूर्व उन विद्यालयों की मूल सत्यापित रिपोर्ट को साथ लेकर जाएंगे तथा मूल सत्यापन से भिन्नता मिलने पर विशेष सत्यापन दल के अध्यक्ष की ओर से मूल सत्यापन रिपोर्ट में लाल स्याही के लेन से आवश्यक संशोधन किए जाएंगे।
सीबीइओ को किया पाबंद
श्रीगंगानगर-अनूपगढ़ जिले के सभी नौ ब्लॉकों में विभाग की आरटीई के तहत नि:शुल्क शिक्षा, इन्दिरा महिला शक्ति फीस पुनर्भरण योजना व मुख्यमंत्री बालक पुनर्भरण योजना आदि के स्कूलों में जाकर भौतिक सत्यापन किया जाना है। इसके लिए हर ब्लॉक में दलों का गठन कर दिया है तथा सात नवंबर तक भौतिक सत्यापन कर आगामी 15 दिनों में इनकी रिपोर्ट अपलोड करनी होगी। इसके लिए सभी सीबीइओ को पाबंद कर दिया है।
-वेदप्रकाश जलंधरा, एडीइओ,शिक्षा विभाग,श्रीगंगानगर।
सात नवंबर तक करना होगा विद्यालयों का सत्यापन
शिक्षा विभाग के अनुसार 7 नवंबर तक विद्यालयों का भौतिक सत्यापन का कार्य कंप्लीट करना होगा। इस कार्य को एक सप्ताह तक पूरा करना होगा तथा आगामी 15 दिनों में भौतिक सत्यापन की रिपोर्ट को अपलोड करना होगा।
प्रत्येक दल में शामिल दोनों सदस्यों का चुनाव एक ही विद्यालय से किया गया है। एक सत्यापन दल को अधिकतम 3 विद्यालय आवंटित किए गए हैं। सत्यापन दल का मुखिया राजपत्रित अधिकारी होगा तथा एक अन्य सदस्य उपलब्धता के आधार पर व्याख्याता, वरिष्ठ अध्यापक तथा लिपिक वर्ग का होगा जबकि प्रारम्भिक शिक्षा में पर्याप्त संख्या में राजपत्रित अधिकारी उपलब्ध न होने की स्थिति में दलों के अध्यक्ष के रूप में माध्यमिक शिक्षा से प्रधानाचार्य, प्रधानाध्यापक तथा व्याख्याता को शामिल किया है। शेष एक सदस्य उच्च प्राथमिक विद्यालय का प्रधानाध्यापक या अध्यापक हो सकता है।
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