अब नई सरकार से लैपटॉप, साइकिल तथा थर्ड ग्रेड शिक्षकों के तबादलों की उम्मीद कांग्रेस सरकार ने पांच साल निकाल दिए स्थानांतरण नीति बनाने में
बीकानेर. प्रदेश में नई सरकार के गठन को लेकर मशक्कत चल रही है। इस बीच, शिक्षा विभाग में तृतीय श्रेणी शिक्षकों के तबादलों को लेकर भी नए सिरे से चर्चा शुरू हो चुकी है। कांग्रेस सरकार में दो विधायकों को अलग-अलग समय के लिए शिक्षा मंत्री का दायित्व मिला। उसके बाद भी पांच साल निकल गए, लेकिन न तो कोई स्थानांतरण नीति बनी और न ही तृतीय श्रेणी शिक्षकों के तबादले हो सके। इसके अलावा भी शिक्षा विभाग में कई ऐसे काम रुक हुए हैं, जो नई सरकार के इंतजार में हैं। चार शिक्षा सत्रों से मेधावी विद्यार्थियों को लैपटॉप नहीं मिले। दो सत्रों की साइकिलें वितरित नहीं की जा सकीं और आधार तथा जन आधार नंबर अपलोड नहीं हो पाने की वजह से पोशाक की सिलाई भी पूरी तरह से नहीं मिल पाई ।
बदलेगी तालाबंदीकी सूरत
कांग्रेस सरकार ने पांच हजार से अधिक स्कूलों को क्रमोन्नत किया, लेकिन व्याख्याताओं तथा अन्य वर्ग के कार्मिकों के पद स्वीकृत नहीं किए। इस वजह से विद्यार्थियों का पाठ्यक्रम भी पूरा नहीं हुआ। नतीजतन कई स्कूलों में तालाबंदी की नौबत तक आ गई। विद्यार्थी आंदोलन पर उतारू हो गए। अब उम्मीद है कि सरकार क्रमोन्नत विद्यालयों में पदों की स्वीकृति जारी कराएगी।
85 हजार आवेदनों पर नहीं किया गौर
कांग्रेस सरकार के दौरान थर्ड ग्रेड शिक्षकों के स्थानांतरण के लिए ऑनलाइन आवेदन मांगे गए थे। उस दौरान प्रदेश से करीब 85 हजार शिक्षकों ने आवेदन जमा कराए, लेकिन एक भी शिक्षक का स्थानांतरण नहीं किया गया। ऐसे में इन शिक्षकों में सरकार के खिलाफ पांच साल तक रोष रहा।
यह समस्याएं भी समाधान के इंतजार में
- विभिन्न संवर्गो की पिछले तीन सत्र से रुकी हुई पदोन्नतियां।
- माध्यमिक शिक्षा में स्टाफिंग पैटर्न।
- थर्ड ग्रेड शिक्षकों की स्थानांतरण नीति।
- पदरिक्तता की समस्या से निजात।
- शिक्षकों को गैर शैक्षणिक कार्यों से मुक्ति।
- मेधावी विद्यार्थी लैपटॉप वितरण योजना में पिछले 4 साल से बकाया लैपटॉप वितरण।
- नि:शुल्क साइकिल वितरण योजना में पिछले दो सत्र से बकाया साइकिल।
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